
बाड़मेर. अफ्रीकी देश कांगो और मोरक्को में सेवा के दौरान कर्तव्य निभाते हुए अपने प्राणों का बलिदान देने वाले राजस्थान के बाड़मेर जिले के सांवलाराम विश्नोई को यूएन मेडल से नवाजा गया है. बाड़मेर में एक भव्य समारोह में शहीद सांवलाराम विश्नोई की वीरांगना रुखमण विश्नोई और उनके बेटे अभिनव ने यह सम्मान लिया. इस दौरान, पूरा माहौल भारत माता के जयकारों से गूंज उठा.
जिले के छोटे से गांव बांड के शहीद सांवलाराम विश्नोई को मरणोपरांत यूएन मेडल दिया गया है. सीमा सुरक्षा बल बाड़मेर सेक्टर के DIG प्रीतपाल सिंह भट्टी ने वीरांगना को जब यूएन मेडल दिया तो उनकी आंखें भर आईं. इस अवसर पर DIG प्रीतपाल भट्टी ने कहा कि शहीद सांवलाराम की जांबाजी बाड़मेर ही नहीं, बल्कि पूरे देश के लिए गर्व की बात है. उन्होंने सरहद पार अपने कर्तव्य का निर्वहन करते हुए अपने सीने पर गोली खाई और पीछे नही हटे.
शहीद सांवलाराम विश्नोई की वीरांगना रुखमण विश्नोई ने कहा कि देश ने उनके सुहाग की जांबाजी को यूएन मेडल से नवाजा, यह मरुधरा का सम्मान है. वहीं, शहीद के बेटे अभिनव ने कहा कि वो भी अपने पिता की तरह देश सेवा करेगा और वायुसेना में पायलट बनकर अपने पिता की तरह देश का नाम रोशन करना चाहता है.
पिछले कई वर्षों से शहीदों के परिवारों के हितार्थ काम कर रही टीम थार के वीर के संयोजक रघुवीर सिंह तामलोर ने कहा कि शहीद सांवलाराम विश्नोई का पराक्रम पूरे देश के लिए गौरवान्वित करने वाला है. सांवलाराम को मरणोपरांत यूएन मेडल से नवाजा गया है, यह जिलेवासियों के लिए काफी फक्र की बात है.
बता दें कि, कांगो में यूएन मिशन पर तैनात सीमा सुरक्षा बल के जवान सांवलाराम बिश्नोई ने अफ्रीकी देश मोरक्को में उपद्रवियों के हमले में शहीद हो गये थे. संयुक्त राष्ट्रसंघ ने सांवलाराम बिश्नोई की वीरता और साहस का सम्मान करते हुए उन्हें मरणोपरांत यूएन मिशन मेडल प्रदान किया है.
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FIRST PUBLISHED : January 24, 2023, 17:07 IST